छतरपुर। जिले में मुख्यमंत्री कृषक ब्याज माफी योजना 2023 के तहत रामपुर कुर्रा समिति शाखा ईशानगर में भारी अनियमितताओं और भ्रष्टाचार की शिकायतें सामने आई हैं। किसानों ने प्रबंधक संतोष कुमार पटैरिया पर कई गड़बडिय़ों के आरोप लगाए हैं, जिसमें अपात्र किसानों को योजना का लाभ देना और गलत ब्याज क्लेम के माध्यम से सरकारी धन का दुरुपयोग शामिल है।
बीते 19 सितंबर 2024 को, रामपुर कुर्रा समिति के दर्जनों किसानों ने कलेक्टर और अन्य अधिकारियों के सामने लिखित शिकायत दी थी, जिसमें बताया गया कि कैसे योजना की गाइडलाइंस की अनदेखी करते हुए अपात्र किसानों को लाभ पहुंचाया गया। किसानों के अनुसार उनके लोन रिकॉड्र्स में हेरफेर किया गया और बिना किसी उचित जांच के गलत ब्याज क्लेम कर धांधली की गई। हालांकि, इतनी गंभीर शिकायतों के बावजूद, प्रशासनिक कार्रवाई अब तक ठंडे बस्ते में है।
यह पहली बार नहीं है जब समिति प्रबंधक पर भ्रष्टाचार के आरोप लगे हों। 2018 में भी संतोष कुमार पटैरिया पर किसानों की ब्याज राशि और मूलधन में हेरफेर के आरोप लगे थे। जांच में पाया गया कि 2,89,800 रुपये का गलत ब्याज लिया गया था, जबकि 16,72,631 रुपये का गबन किया गया था। इसके बावजूद, बैंक महाप्रबंधक द्वारा आज तक कोई वैधानिक कार्रवाई नहीं की गई।
10 जुलाई 2024 को छतरपुर जिला पंचायत की बैठक में टीकमगढ़ लोकसभा क्षेत्र के सांसद और केंद्रीय मंत्री ने मुख्यमंत्री कृषक ब्याज माफी योजना 2023 की निष्पक्ष जांच के निर्देश दिए थे। इसके बाद जांच दल भी गठित किया गया, लेकिन जांच की निष्पक्षता पर सवाल खड़े हो गए हैं। जांच दल पर आरोप है कि उन्होंने रामपुर कुर्रा समिति की जांच नहीं की। दोषी रामपुर कुर्रा समिति प्रबंधक संतोष कुमार पटेरिया को बचाने के प्रयास में गोलमोल रिपोर्ट दी और भ्रष्टाचार के मामलों को दबाने की कोशिश की।
किसानों और स्थानीय लोगों ने मांग की है कि मुख्यमंत्री ब्याज माफी योजना 2023 के तहत किए गए सभी समायोजन और क्लेम्स की पुन: निष्पक्ष जांच हो। किसानों के लोन रिकॉड्र्स को सार्वजनिक स्थलों पर प्रदर्शित कर उनका सत्यापन कराया जाए। दोषियों और गलत जांच प्रतिवेदन प्रस्तुत करने वाले अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाए।